इस प्रकार दोनों तल बेलनों पर घूमते हैं और सर्पी घर्षण के स्थान पर बेलन घर्षण (
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अभी तक जो धारुक बताए गए हैं उनमें धुरी का तल धारुक के तल पर घूमता रहता है और सर्पी घर्षण (
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अभी तक जो धारुक बताए गए हैं उनमें धुरी का तल धारुक के तल पर घूमता रहता है और सर्पी घर्षण (sliding friction) के कारण दोनों की धातु घिसती रहती हैं।
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अभी तक जो धारुक बताए गए हैं उनमें धुरी का तल धारुक के तल पर घूमता रहता है और सर्पी घर्षण (sliding friction) के कारण दोनों की धातु घिसती रहती हैं।
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इस प्रकार दोनों तल बेलनों पर घूमते हैं और सर्पी घर्षण के स्थान पर बेलन घर्षण (rolling friction) काम करता है, जिसके कारण तापन तथा घिसाई बहुत कम हो जाती है, परंतु इन धारुकों के घिस जाने पर दूसरे धारुकों के समान इनका व्यवस्थापन नहीं किया जा सकता, बल्कि इनको बदलना ही पड़ता है।
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इस प्रकार दोनों तल बेलनों पर घूमते हैं और सर्पी घर्षण के स्थान पर बेलन घर्षण (rolling friction) काम करता है, जिसके कारण तापन तथा घिसाई बहुत कम हो जाती है, परंतु इन धारुकों के घिस जाने पर दूसरे धारुकों के समान इनका व्यवस्थापन नहीं किया जा सकता, बल्कि इनको बदलना ही पड़ता है।